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भारत में सोलर एनर्जी क्रांति: मॉड्यूल और सेल मैन्युफैक्चरिंग में ऐतिहासिक उछाल

🔹 सोलर एनर्जी सेक्टर में जबरदस्त ग्रोथ:
भारत की सोलर मॉड्यूल मैन्युफैक्चरिंग क्षमता बीते चार साल में 9 गुना बढ़कर 60 गीगावाट तक पहुंच गई है। क्रिसिल रिपोर्ट के अनुसार, सोलर सेल मैन्युफैक्चरिंग क्षमता वित्त वर्ष 2026-27 तक 5 गुना बढ़कर 50-55 गीगावाट हो जाएगी।

🔹 बढ़ता आत्मनिर्भर भारत:
घरेलू मैन्युफैक्चरिंग के विस्तार से सोलर मॉड्यूल आयात घटकर 25% रह गया, जो पहले 45% था। हालांकि, सोलर सेल का आयात अभी भी 80% पर बना हुआ है।

🔹 बड़े निवेश और निर्यात की ओर कदम:
भारत के चार प्रमुख घरेलू निर्माता 30 हजार करोड़ रुपये का निवेश करने जा रहे हैं, जिससे भारत सोलर उपकरणों के बड़े निर्यातक के रूप में उभर सकता है। रिलायंस, टाटा पावर, अदाणी सोलर, विक्रम सोलर और वारी एनर्जीज जैसी कंपनियां सोलर सेल और मॉड्यूल निर्माण का विस्तार कर रही हैं।

🔹 सोलर पीवी मॉड्यूल एक्सपोर्ट में 23 गुना उछाल:
वित्त वर्ष 2022 से 2024 के बीच भारत से सोलर पीवी मॉड्यूल का निर्यात 23 गुना बढ़कर 200 करोड़ डॉलर (17,500 करोड़ रुपये) हो गया। अमेरिकी और अन्य विदेशी बाजारों में भारतीय सोलर कंपनियों के लिए अपार संभावनाएं हैं।

🔹 2050 तक 85 लाख नौकरियों की संभावना:
ग्रीन एनर्जी सेक्टर में 2023 में 10 लाख से अधिक लोग कार्यरत थे। 2050 तक यह संख्या 85 लाख से अधिक हो सकती है, जिससे रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे।

🔹 सोलर रूफटॉप स्कीम की ऐतिहासिक सफलता:
पीएस सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना दुनिया की सबसे बड़ी रूफटॉप सोलर पहल बन गई है। मार्च 2027 तक 1 करोड़ घरों को जोड़ने का लक्ष्य है, जिसमें 10 महीने में ही 7 लाख घर शामिल हो चुके हैं।

🔹 अमेरिका में भारतीय कंपनियों के प्लांट:
चीन-अमेरिका व्यापार युद्ध से भारत को फायदा मिल सकता है। वारी एनर्जीज और विक्रम सोलर जैसी कंपनियां अमेरिका में मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटी स्थापित करने की योजना बना रही हैं।

🔹 भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा सोलर हब:
वर्तमान में भारत की सोलर एनर्जी कैपेसिटी 100 गीगावाट पार कर चुकी है, जो 2014 में केवल 3 गीगावाट थी। इस उपलब्धि के साथ भारत चीन और अमेरिका के बाद तीसरा सबसे बड़ा सोलर एनर्जी उत्पादक देश बन गया है।

🌍 UPSC और अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए महत्वपूर्ण बिंदु:

भारत की सोलर मॉड्यूल क्षमता: 60 गीगावाट
सोलर सेल क्षमता वृद्धि लक्ष्य: 50-55 गीगावाट (FY 2026-27)
भारत का सोलर पीवी एक्सपोर्ट: 23 गुना बढ़कर 200 करोड़ डॉलर
2050 तक ग्रीन एनर्जी सेक्टर में नौकरियां: 85 लाख+
सोलर रूफटॉप योजना लक्ष्य: 1 करोड़ घर (मार्च 2027)
भारत की वैश्विक स्थिति: सोलर एनर्जी में तीसरा सबसे बड़ा देश

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By : team atharvaexamwise